Follow us:
Register
🖋️ Lekh ✒️ Poem 📖 Stories 📘 Laghukatha 💬 Quotes 🗒️ Book Review ✈️ Travel

poem

दरख्त और कुल्हाड़ी- सुधीर श्रीवास्तव

दरख्त और कुल्हाड़ी अरे बेशर्म मानवों! कितने बेहया हो तुममगर तुम्हें क्या फर्क पड़ता हैतुम आखिर सुनते ही किसकी हो। …


दरख्त और कुल्हाड़ी

दरख्त और कुल्हाड़ी- सुधीर श्रीवास्तव
अरे बेशर्म मानवों!

कितने बेहया हो तुम
मगर तुम्हें क्या फर्क पड़ता है
तुम आखिर सुनते ही किसकी हो।

तुम तो अपनी जन्मभूमि
अपनी पैतृक जड़ों से भी
कटते जा रहे हो,

अपने ही खून के रिश्तों को
स्वार्थ वश दूर कर रहे हो।
तुम तो इतने समझदार हो कि
अपने माँ बाप को भी
निहित स्वार्थवश मौत की ओर
ढकेलने में भी नहीं शरमाते हो।

फिर हम तो बेजुबान हैं
न हम प्रतिरोध करते हैं
न कुल्हाड़ी विरोध करती है,
फिर भी तुम हमें एक दूजे का
दुश्मन मान मगन हो,

कुल्हाड़ी को आग में खूब जलाते हो
मनमुताबिक आकर देकर
उसे तैयार करते हो,
उसके प्रहार से हमें घायल करते
काटते, चीरते फाड़ते हो,

फिर कुल्हाड़ी को किसी कोने में डाल
हमें बार बार तड़पाते
स्वार्थवश हमें रुलाते हो
घायल करते रहते हो
बहुत खुश होते हो।

पर ऐसा करके भी
तुम खुश कहाँ रहते हो?
जीवन के लिए जीवन भर
झटपटाते, घिघियाते हो

दरख्तों से ही तुम्हारा जीवन है
ये समझ कहाँ पाते हो?
कुल्हाड़ी और दरख्त को
एक दूसरे का दुश्मन बनाने की जिद में
अपने आपके दुश्मन बनते जाते हो
खुद को बड़ा सयाना समझते हो।

सुधीर श्रीवास्तव
गोण्डा, उ.प्र.
8115285921
©मौलिक, स्वरचित


Related Posts

Jeevan ki pagdandi par by anishk

March 9, 2024

जीवन की पगडंडी पर जीवन की पगडंडी पर जीवन की पगडंडी परचलते-चलते जब शाम हुई,पैरों में तिनके लिपटे सेनींदें रातों

Stree | स्त्री पर कविता

March 8, 2024

स्त्री माँ , बहन,मित्र, प्रेमिका,सबमें मैंने देखी थोड़ी-थोड़ी स्त्री,किंतु विवाह के बाद पत्नी से मिल,मूड स्विंग जैसे नये टर्म सीखे,मैंने

रामराज्य लाते हैं | ramrajya laate hai

January 21, 2024

रामराज्य लाते हैं आओ सनातनियों हम सब मिल-जुल कर, एक बार फिर से भारत में रामराज्य लाते हैं। ऊंच-नीच, अमीरी-गरीबी,

नववर्ष-2024 | kavita navvarsh-2024

January 2, 2024

नववर्ष-2024 सुनो दिकु….. इस नववर्ष में लौट आनातुम्हारी यादों से यह दिल को अब और ना बहलाना बातें बहुत-सी हो

दिकुप्रेम | dikuprem

December 31, 2023

दिकुप्रेम सुनो दिकु… में ठीक हूँतुम अपना ख्याल रखनामेरी फिक्र में मत रहना कोई भी आये परेशानी अगरहौंसला रखना खुद

तुम और मैं | Tum aur main

December 30, 2023

 तुम और मैं तुम घुमाते बल्ला क्रिकेट के,मैं घुमाती कंघी बालों में  तुम बात करते किताबों से, मैं बनाती बातें

Leave a Comment