Follow us:
Register
🖋️ Lekh ✒️ Poem 📖 Stories 📘 Laghukatha 💬 Quotes 🗒️ Book Review ✈️ Travel

kishan bhavnani, lekh

आम आदमी की आह – दर्द-ए-टमाटर

आम आदमी की आह – दर्द-ए-टमाटर टमाटर की महंगाई – राजभवन में टमाटर के इस्तेमाल पर राज्यपाल ने रोक लगाई …


आम आदमी की आह – दर्द-ए-टमाटर

आम आदमी की आह - दर्द-ए-टमाटर

टमाटर की महंगाई – राजभवन में टमाटर के इस्तेमाल पर राज्यपाल ने रोक लगाई !

टमाटर ने रसोई के स्वाद पर चोट पहुंचाई – उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय से लेकर वित्त मंत्रालय मंथली इकनोमिक रिपोर्ट ने मोहर लगाई – एडवोकेट किशन भावनानी गोंदिया

गोंदिया – वैश्विक स्तरपर टमाटर अमूनन सबसे ज्यादा प्रयोग में होने वाली सब्जी है। बहुत से लोग ऐसे हैं जो बिना टमाटर के खाना बनाने की कल्पना तक नहीं कर सकते ऐसा मानना है कि इनकी उत्पत्ति दक्षिण अमेरिकी एंडीज में हुई फिर मेक्सिको में इसका भोजन के रूप में उपयोग हुआ फिर अमेरिका के स्पेनिश उपनिवेश से होते हुए विश्व भर में इसका उपयोग फैल गया। पूरी दुनियां में भोजन के साथ टमाटर का सलाद खाया जाता है यहाँ तक कि टमाटर के बिना सलाद अधूरा रह जाता है।सब्जियों में टमाटर ऐसा है, जिसकी खपत पूरे विश्व में सबसे अधिक है याने वहीं अगस्त के आखिरी बुधवार को स्पेन में टा टोमाटीना त्यौहार मनाया जाता है जहां एक दूसरे पर जमकर टमाटर फेंकते हैं जिसे हाथ से मसल कर चिपका कर फेंकते हैं और देखते ही देखते सैकड़ों टन टमाटर कीचड़ का रूप ले लेते हैं। मैं स्वयं अपनी आंखों से इस फेस्टिवल को टीवी चैनलों पर हर साल देखता हूं। परंतु यह क्या?? हमारी रोजमर्रा की जिंदगी का अहम हिस्सा टमाटर आज आम आदमी की आह बन गया है, दर्द-ए-टमाटर जो आज 4 अगस्त 2023 को कई शहरों में प्रति किलो 300 पार हो गया है, याने टमाटर ने रसोई के स्वाद पर चोट पहुंचाई है जिसपर उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय, वित्त मंत्रालय मंथली इकनोमिक रिपोर्ट नें भी मुहर लगाई है। पिछले करीब एक माह से भी अधिक समय से टमाटर के भाव में लगातार उछाल देखा जा रहा है जो जलवायु परिवर्तन के एक हिस्से के रूप में माना जा रहा है। दिनांक 3 अगस्त 2023 को मीडिया में खबर आई कि पंजाब के राज्यपाल ने राजभवन में टमाटर के इस्तेमाल पर रोक लगाई है! ताकि जनता को संदेश जाए कि उसका उपभोग कम करने से कीमतें नियंत्रण में आएगी, जिसकी चर्चा हम नीचे पैरा में करेंगे। चूंकि राजभवन से टमाटर के उपयोगपर रोकका आदेश एक महत्वपूर्ण संदेश है,इसीलिए आज हम मीडिया में उपलब्ध जानकारी के सहयोग से इस आर्टिकल के माध्यम से चर्चा करेंगे, आम आदमी की आह दर्द-ए-टमाटर।
साथियों बात अगर हम टमाटर और उसकी महंगाई की करें तो, टमाटर सदियों से भारतीय थाली का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बना हुआ है।टमाटर का इस्तेमाल लगभग सभी घरों में किया जाता है।दरअसल टमाटर को एक सहायक सब्जी के रूप में इस्तेमाल किया जाता है।किसी भी प्रकार की सब्जी या व्यंजन बनानें में अगर भरपूर स्वाद भरना है तो इसके लिए टमाटर होना जरुरी है। देश में टमाटर की कीमत उच्‍चस्‍तर पर है। कुछ हिस्‍सों में इसकी कीमत 300 रुपये से ज्‍यादा है। हालांकि कुछ जगहों पर टमाटर की कीमत 250 रुपये से नीचे है। माना जा रहा है कि अभी टमाटर की कीमतें और बढ़ सकती हैं, साथ ही कुछ और सब्जियों के दाम में भी इजाफा होने की उम्‍मीद है। पत्तागोभी, फूलगोभी ककड़ी, पत्तेदार साग आदि जैसी सब्जियों के महंगा होने की संभावना है। टमाटर की कीमतों में एक बार फिर से आग लग गई है। सरकारी की तमाम कोशिशों के बाद आखिरकार बीते दिनों लोगों को राहत मिली थी और कीमतों में गिरावट आई थी, लेकिन ये राहत ज्यादा दिन कायम नहीं रह सकी और फिर 300 के पार पहुंच गया है। साथियों राजधानी दिल्ली की बात करें तो बुधवार को एक मॉल की सफल खुदरा दुकानों पर टमाटर 259 रुपये प्रति किलोग्राम के भाव से बेचा गया था, रिटेल में 200 के पार बिक रहा टमाटर न केवल वहां के स्टोर्स पर बल्कि अन्य रिटेल सब्जी मार्केट में भी टमाटर की कीमत 200 रुपये के पार पहुंच चुकी है। जानकारी के मुताबिक, एक जानकार ने टमाटर की कीमतों में फिर से आए उछाल को लेकर कहा है कि मौसम के खराब होने के कारण पिछले दो महीने से देशभर में टमाटर की आपूर्ति प्रभावित हुई है। वहीं बीते दो दिनों में अनेक मंडीयों में टमाटर की आवक में बड़ीगिरावट दर्ज की गई है। मांग के अनुरूप सप्लाई कम होने के कारण टमाटर की थोक कीमतों में तेजी बढ़ोत्तरी हुई है और इसका सीधा असर इसकी खुदरा कीमतों पर दिखाई दे रहा है. रिपोर्ट के मुताबिक, एशिया की सबसे बड़ी होलसेल सब्जी मंडी में टमाटर की थोक कीमतें बुधवार को गुणवत्ता के आधार पर 170 रुपये से लेकर 220 रुपये प्रति किलोग्राम के बिक रहीं थीं। बता दें जून 2023 के आखिरी और जुलाई के शुरुआती दो हफ्तों में टमाटर की कीमतों में तेज वृद्धि दर्ज की गई थी, लेकिन सरकारी हस्तक्षेप के बाद 14 जुलाई से प्लान के तहत सस्ती दर पर टमाटर की बिक्री शुरू की गई, इसके बाद टमाटर की रिटेल कीमतों में गिरावट देखने को मिली थी। अब फिर से न केवल दिल्ली बल्कि छत्तीसगढ़ मेंटमाटर पर बढ़ती महंगाई का असर आम नागरिकों पर दिखने लगा है। यहां भी लाल टमाटर पहले दो सौ रूपये किलो और अब तीन सौ रूपये किलो में बिकने लगा है।
साथियों बात अगर हम शासकीय मंत्रालयों की टमाटर पर राय की करें तो, उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, बुधवार 2 अगस्त 2023 को टमाटर की खुदरा कीमत 203 रुपये प्रति किलोग्राम पर पहुंच गई। गौरतलब है कि बीते जुलाई महीने के करीब हर दिन टमाटर की कीमतें नई ऊंचाइयां छू रही थीं, जिससे लोगों की रसोई से ये गायब हो गया था। रिटेल मार्केट्स में दिल्ली, चंडीगढ़ उत्तराखंड में ये 300 रुपये प्रति किलोग्राम के पार पहुंच गया था। वित्त मंत्रालय के इकोनॉमिक डिविजन ने वित्त वर्ष 2022-23 के लिए जो एनुअल इकोनॉमिक रिव्यू जारी किया है, उसमें साफ लिखा है कि बेमौसम बारिश जैसे घरेलू कारणों के टमाटर जैसी कुछ सब्जियों की कीमतों पर दबाव बना रखा है मंत्रालय ने अपने इस रिपोर्ट में कहा कि ग्लोबल सप्लाई चेन में सुधार, सरकार के नीतिगत फैसलों और आरबीआई की मॉनिटरी पॉलिसी की सख्ती के चलते 2022-23 वित्त वर्ष की दूसरी छमाही में महंगाई में कमी आई है। लेकिन बेमौसम बारिश के चलते टमाटर समेत कुछ सब्जियों की कीमतों में बढ़ोतरी देखी जा रही है। वहीं वित्त मंत्रालय ने मंथली इकोनॉनिक रिपोर्ट में कहा कि मजबूत चौथी तिमाही के चलते 2022-23 में आर्थिक विकास की रफ्तार 7.2 फीसदी रही है जो फरवरी 2023 के 7 फीसदी अनुमान से ज्यादा है।
साथियों बात अगर हम पंजाब के राज्यपाल द्वारा राजभवन में टमाटर के उपयोग पर रोक लगाने की करें तो, आम लोगों को हो रही दिक्कतों के बीच राजभवन में टमाटर के इस्तेमाल पर फिलहाल रोक लगा दी है। राजभवन की ओऱ से जारी बयान में कहा गया है कि टमाटर की लगातार बढ़ती कीमतों के चलते ये कदम उठाया गया है। पंजाब की जनता से सहानुभूति दिखाने के लिए राज्यपाल ने टमाटर के दाम इस कदर बढ़ रहे हैं कि यह आम लोगों के किचन और थाली से गायब हो गया है। टमाटर की बढ़ती कीमतों को देखते हुए अब वहां ने बड़ा कदम उठाया है,राजभवन की ओऱ से जारी बयान में कहा गया है कि टमाटर की लगातार बढ़ती कीमतों के चलते ये कदम उठाया गया है। जनता से सहानुभूति दिखाने के लिए राज्यपाल ने यह फैसला किया है। उन्होंने कहा कि किसी भी वस्तु का इस्तेमाल अगर बंद किया जाए तो मांग में कमी की वजह से इसके दाम कम हो जाएंगे।बयान में कहा गया है कि ऐसा इसलिए किया गया है ताकि नागरिकों को संसाधनों का उचित उपयोग करने के लिए कहा जाए।अपने आवास में टमाटर के उपभोग पर रोक लगाकर राज्यपाल का लक्ष्य इस चुनौतीपूर्ण समय में मितव्ययिता और संसाधनों के उचित उपयोग के महत्व पर ध्यान दिलाना है। उन्होंने कहा, किसी वस्तु की खपत रोकने या कम करने से उसकी कीमत पर असर पड़ना तय है। मांग कम होने से कीमत अपने आप कम हो जाएगी। मुझे उम्मीद है कि लोग फिलहाल अपने घरों में मौजूद विकल्प पर विचार करेंगे और टमाटर की कीमतों में वृद्धि को कम करने में मदद करेंगे।
साथियों बात अगर हम टमाटर के स्थान पर टोमेटो सॉस का उपयोग करने की करें तो अब टोमैटो सॉस का यूज सब्जी मंडियों में टमाटर की कीमतों में आए उछाल के बाद अब लोगों ने इसे खरीदने के बजाय नया तरीका ढूंढ़ लिया है। लोगों की इस नई जुगाड़ के बारे में बात करें तो बाजार से महंगा टमाटर खरीदने की बजाए सीधे-सीधे टमाटर कैचअप टमाटर प्यूरी खरीदकर इसके स्वाद को बराकरार रखा जा रहा है, इसके चलते बाजार में अचानक टोमैटो कैचअप की न केवल बिक्री बढ़ गई है, बल्कि लोग बाजार में 200 रुपये किलो टमाटर की बजाए 100 से 160 रुपये में सॉस-कैचअप खरीद रहे हैं। एक होटल संचालक का कहना है कि बाजार में बढ़ते दामों के कारण अब टमाटर की चटनी ग्राहकों को देने से उनके होटल का पूरा बजट बिगड़ रहा है। ऐसे में बाजार से टोमैटो कैचअप, टोमैटो प्यूरी का इस्तेमाल कर कारोबार सुचारू चला रहे हैं।
साथियों बात अगर हम स्पेन में अगस्त के आखिरी बुधवार को टमाटर से टो टोमाटीना त्यौहार मनाने की करें तो, वहां टा टोमाटीना त्योहार मनाया जाता है। इस त्योहार में शामिल होने के लिए दुनिया के कोने-कोने से लोग शामिल होते हैं। यहां लाखों की संख्या में लोग इस त्योहार को मनाने आते हैं। टा टोमाटीना फेस्ट पूरे विश्व में लोकप्रिय है।टोमैटो फाइट यहां का बेहद लोकप्रिय त्योहार है। इस त्योहार में करीब 250,000 पाउंड टमाटरा का इस्तेमाल किया जाता है। फेस्ट के दौरान लोग एक-दूसरे पर जमकर टमाटर फेंकते हैं। हालांकि लोगों को चोट ना लगे इसके लिए टमाटर को हाथ से पिचकाकर मारा जाता है। जब कोई किसी पर टमाटर फेंक के मारता है तो उसके पहले उसे टमाटर को फोड़ना होता है उसके बाद मारना होता है। इस दौरान एक-दूसरे की टी-शर्ट या कपड़े फाड़ने पर मनाही है और जब कोई कहे कि रुक जाओ तो टमाटर फेंकने वाले को रुकना होता है।
अतः अगर हम उपरोक्त पूरे विवरण का अध्ययन कर उसका विश्लेषण करें तो हम पाएंगे कि आम आदमी की आह-दर्द-ए टमाटर।टमाटर की महंगाई – राजभवन में टमाटर के इस्तेमाल पर राज्यपाल ने रोक लगाई !टमाटर ने रसोई के स्वाद पर चोट पहुंचाई – उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय से लेकर वित्त मंत्रालय मंथली इकनोमिक रिपोर्ट ने मोहर लगाई।

-संकलनकर्ता लेखक – कर विशेषज्ञ स्तंभकार एडवोकेट किशन सनमुख़दास भावनानी गोंदिया महाराष्ट्र


Related Posts

Lekh aa ab laut chalen by gaytri bajpayi shukla

June 22, 2021

 आ अब लौट चलें बहुत भाग चुके कुछ हाथ न लगा तो अब सचेत हो जाएँ और लौट चलें अपनी

Badalta parivesh, paryavaran aur uska mahatav

June 12, 2021

बदलता परिवेश पर्यावरण एवं उसका महत्व हमारा परिवेश बढ़ती जनसंख्या और हो रहे विकास के कारण हमारे आसपास के परिवेश

lekh jab jago tab sawera by gaytri shukla

June 7, 2021

जब जागो तब सवेरा उगते सूरज का देश कहलाने वाला छोटा सा, बहुत सफल और बहुत कम समय में विकास

Lekh- aao ghar ghar oxygen lagayen by gaytri bajpayi

June 6, 2021

आओ घर – घर ऑक्सीजन लगाएँ .. आज चारों ओर अफरा-तफरी है , ऑक्सीजन की कमी के कारण मौत का

Awaz uthana kitna jaruri hai?

Awaz uthana kitna jaruri hai?

December 20, 2020

Awaz uthana kitna jaruri hai?(आवाज़ उठाना कितना जरूरी है ?) आवाज़ उठाना कितना जरूरी है ये बस वही समझ सकता

azadi aur hm-lekh

November 30, 2020

azadi aur hm-lekh आज मौजूदा देश की हालात देखते हुए यह लिखना पड़ रहा है की ग्राम प्रधान से लेकर

Previous

Leave a Comment