Follow us:
Register
🖋️ Lekh ✒️ Poem 📖 Stories 📘 Laghukatha 💬 Quotes 🗒️ Book Review ✈️ Travel

Jayshree_birmi, lekh

हिन्दी हमारी कितनी? | Hindi hamari kitni?

हिन्दी हमारी कितनी? हिंदी दिवस की शुभकामनाएं के अनगिनत msg पाएं किंतु कैसे छुड़वा पाएंगे अंग्रजी के पाश से? Msg …


हिन्दी हमारी कितनी?

हिन्दी हमारी कितनी?

हिंदी दिवस की शुभकामनाएं के अनगिनत msg पाएं किंतु कैसे छुड़वा पाएंगे अंग्रजी के पाश से? Msg को क्या बोलेंगे? समाचार? नहीं ये गलत प्रयोग होगा,संदेश? ये आप ही सोचे हिंदी को हिंदी बनाएं रखना कितना मुश्किल हैं?कई क्षेत्र ऐसे खास कर डॉक्टरी ,विज्ञान आदि के को परिभाषिक शब्द या वाक्यांश हैं जो सिर्फ अंग्रजी में ही उपलब्ध हैं,या हिंदी में वे प्रचलित नहीं हैं।
ऐसे ही दूसरे विषयों में भी शक्य हैं।कुछ लिखने बैठते है तो कुछ अंग्रजी के बहुपयोगी शब्दों का ही प्रयोग हो जाता हैं उनके हिंदी शब्द ढूंढने पड़ते हैं।
हिंदी के सुलभ उपयोग के लिए उसे बहुआयामी बनाना जरूरी है,कोई नई शोध होती हैं तो उनके लिए हिंदी शब्द की रचना होना अति आवश्यक बन जाती हैं।अगर कुछ होता भी है तो कुछ अजीब सा होता ह जैसे दूरभाष,टेलीफोन को कहते है लेकिन कितना प्रचलित हैं आम लोगो की जुबान पर? वैसे ही मोबाइल, चलभाष कहते सुना जाता है किंतु प्रचलन में नहीं देखा।वैसे ही टेली विजन,चैनल,आदि अनेक शब्द प्रयोग है जिसके लिए प्रचलन में ला सके वैसे पर्यायों होना आवश्यक हैं।ये हमारा जागने का वक्त हैं जिस तेजी से अंग्रजी मध्यम में पढ़ रहे बच्चें जो अपनी मातृभाषा और राष्ट्र भाषा के उपयोग से दूर जा रहें हैं या उसका उपयोग करने में शर्म महसूस कर रहे हैं ये चिंताजक तथ्य हैं।कभी कभी तो हिंदी में अंग्रजी के शब्द नहीं वाक्यों का अतिक्रमण सा देखा जाता हैं,” मैं तुमको स्टोरी टेल करती हूं तुम स्लीप करो” जैसे प्रयोग भी देखे जातें हैं।अंग्रजी मध्यम में पढ़ रहे बच्चें के अभिभावक भी उनको अंग्रजी आती है ये दिखाने के लिए ऐसी खिचड़ी भाषा का प्रयोग करते देखे जाते हैं।
हिंदी दिवस के पहले और उस दिन पर चाहें हम हिंदी की शान में कितने भी कसीदे पढ़ लें,जो वाकई में सत्य हैं,ये एक बहुत ही बहुयामी भाषा है,लेकिन जब तक कोई ठोस कदम उठाने आवश्यक बन जाता है।
बहुत ही रिच,भाषा है हिंदी,व्याकरण की दृष्टि से या अलंकारिक होने की दृष्टि से,छंद से युक्त होने से बहुत ही प्रभावी हैं।संस्कृत भाषा का प्रभाव उसे और वैभवी बनाता हैं।
कैसे समझे हिंदी की शान को,देखो मैं अपना नाम हिंदी में लिखती हूं,जयश्री और उसे अंग्रजी ने लिखती हूं jayshree कितने अक्षर हुए हिंदी ने और कितने हुए अंग्रजी मैं? मात्राओं का प्रयोग जो शब्दों से जुड़ा हैं वही अंग्रेजी में वह प्रथक रहने से जगह भी ज्यादा रोकते हैं।इसका ज्वलंत उदाहरण नेपाल में देखने मिला।नेपाल में देवनागरी लिपि में ही लिखा जाता हैं जैसे हम हिंदी में लिखते हैं।उन लोगो ने वाहन के पंजीकरण अंकों को अंग्रेजी नंबर नहीं लिख हिंदी में लिखते हैं जो बहुत ही आसान हैं।अंग्रजी में 26 अक्षरों को ए को के साथ लिखा जा सकता हैं जब कि हिंदी में 36 तो वर्णमाला के अक्षर ही होते है,कुछ संयुक्त अक्षर और हर अक्षर के साथ लगती मात्राओं से संख्या अधिक हो जाती है।
जैसे उन्हों ने बाराक्षरी के हिसाब से अंकों का प्रयोग किया हैं जो 36×13=468 अक्षर मिलते हैं जैसे क से क: तक ही 13 अक्षर मिल जातें हैं।ऐसे अंक पट्टियों को देख खुशी हुई और देवनागरी लिखने वालों पर गर्व।
आशा रखती हूं अपने देश में भी सिर्फ हिंदी के गुण नहीं गाएं,उसके प्रचार प्रसार और नए शब्दों के अविष्कार की और ध्यान दें अपनी महान राष्ट्र भाषा को सिर्फ बिंदियों संग तोला नहीं जाएं।

About author  

Jayshree birimi
जयश्री बिरमी
अहमदाबाद (गुजरात)


Related Posts

Swatantrata ke Alok me avlokan by satya prakash singh

August 14, 2021

 स्वतंत्रता के आलोक में – अवलोकन  सहस्त्र वर्ष के पुराने अंधकार युग के बाद स्वतंत्रता के आलोक में एक समग्र

Ishwar ke nam patra by Sudhir Srivastava

August 7, 2021

 हास्य-व्यंग्यईश्वर के नाम पत्र    मानवीय मूल्यों का पूर्णतया अनुसरण करते हुए यह पत्र लिखने बैठा तो सोचा कि सच्चाई

Lekh kab milegi suraksha betiyon tumhe by jayshree birmi

August 6, 2021

 कब मिलेगी सुरक्षा बेटियों तुम्हे गरीब की जोरू सारे गांव की भौजाई ये तो कहावत हैं ही अब क्या ये

seema ka samar -purvottar by satya prakash singh

August 3, 2021

सीमा का समर -पूर्वोत्तर पूर्वोत्तर की सात बहने कहे जाने वाले दो राज्यों में आज सीमा का विवाद इतना गहरा

Lekh man ki hariyali by sudhir Srivastava

July 31, 2021

 लेखमन की हरियाली, लाए खुशहाली     बहुत खूबसूरत विचार है ।हमारे का मन की हरियाली अर्थात प्रसन्नता, संतोष और

Lekh by kishan sanmukh das bhavnani

July 31, 2021

 सत्य वह दौलत है जिसे पहले खर्च करो, जिंदगी भर आनंद पाओ- झूठ वह कर्ज़ है, क्षणिक सुख पाओ जिंदगी

Leave a Comment